@टिल्लू शर्मा▪️टूटी कलम डॉट कॉम#रायगढ़ …. कभी कम गर्मी कभी अधिक गर्मी के नाम से जाना पहचाना जाने वाला रायगढ़ शहर इन दिनों शीत लहर से गुजर रहा है। शाम के 7 बजते बजते शहर में भीड़ कम होने लगती है एवं 9 बजते बजते शहर में वीरानी छा जाती है और लोग अपने अपने घरों में जाकर कंबल,रजाई में जा कर दुबकने में ही अपनी भलाई समझने लगे है। टूटी कलम
गरीब बेसहारा,रिक्शे वाले फटी चिरी चादरों का सहारा लेकर दुबके नजर आने लगे है। जिनका कोई सहारा नही होता वे सरकारी मदिरा का सहारा लेकर ठंड से लड़ते है। बाजार की दुकाने सुबह देर से खुलने एवं रात्रि जल्द बंद होने लगी है। टूटी कलम
निगम को करनी चाहिए अलाव,लकड़ी की व्यवस्था…बढ़ती ठंड एवं चलती ठंडी हवाओं से जनजीवन पर असर डालना शुरू कर दिया है। जिससे बचने के लिए नगर निगम प्रशासन को शहर के प्रमुख चौक,चौराहों,बस स्टैंड, रेलवे स्टेशन के आसपास लकड़ी की व्यवस्था की जानी चाहिए ताकि राहगीरों,गरीबो,रिक्शेवालो,आटो वालों, को राहत मिल सके। टूटी कलम
दानवीर,समाजसेवी निकलेंगे सहायता करने…ठंड में सड़कों के किनारे ठिठुरते लोगो की मदद करने के लिये परम्परागत दानवीर,समाजसेवी कारो में कंबल लादकर चौक चौराहों पर पहुंचकर कंबल बांटेंगे पिछले 2 वर्षों से कोरोना के कारण शायद उक्त पूण्य कार्य नही किया जा सका था। इसलिए इसबार दुगुने उत्साह से कंबल, शाल,चादर बांटे जाने की सम्भावनाये है। टूटी कलम








