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🏹 टिल्लू शर्मा ✒️टूटी कलम 🎤न्यूज रायगढ़….. रायगढ़ से ठगी का एक बहुत बड़ा मामला निकल कर सामने आया है. जिसमें दो पत्रकार रणजीत चौहान एवं संदीप मंडल ने ग्रामीणों को नौकरी दिलाने के नाम लगभग 50 लाख रुपए की ठगी कर डाली. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार रणजीत चौहान ने ग्राम जुर्डा निवासी उत्तम प्रधान को अपने झांसे में लाते हुए अपनी पहुंच ऊपर तक बतलाते हुए 8,00,000 देने पर सरकारी नौकरी दिलाने की बात कही. जिस पर उत्तम प्रधान ने इतनी रकम नहीं होने की बात कही तब रणजीत चौहान ने दूसरा पैंतरा अपनाते हुए कहां की यदि तुम 20 25 ग्रामीणों को इकट्ठा करके सबसे तीन लाख रुपए ले लोगे और मुझे दे दोगे तो मैं सब की नौकरी लगवा दूंगा इसमें तुमको 8,00,000 नहीं देने पड़ेंगे. उत्तम प्रधानमंत्री चौहान के बातों में आते हुए ग्रामीणों से लगभग 42 लाख एकत्रित करके रणजीत चौहान के बैंक खाते में ट्रांसफर कर दिए. बाद रंजीत चौहान ने एक फर्जी अपॉइंटमेंट लेटर देते हुए. रायपुर के बैंक में नौकरी लगने की बात कही. उत्तम प्रधान अपॉइंटमेंट लेटर जब रायपुर पहुंचा तब बैंक वालों ने लेटर को फर्जी बताते हुए उत्तम प्रधान को भगा दिया गया. ठगी का एहसास होने पर उत्तम प्रधान ने रणजीत चौहान से अपने पैसे वापस मांगे तो रंजीत के द्वारा समय-समय पर रद्दी कागज के रूप में बैंक के चेक जारी कर दिए. जब जब चेकों को भुगतान के लिए बैंक में लगाया गया तो बैंक के द्वारा चेक को बाउंस कर दिया गया एवं खाते में पर्याप्त रकम न होने की मार्किंग की गई. साथ ही रणजीत चौहान के द्वारा चेक जारी करने के पश्चात बैंक में चेक को रुकवा दिया गया. इसी तरह की ठगी मधुबन चांदमारी निवासी कमल सिदार के सांथ की गई. उससे लगभग 5:30 लख रुपए लेकर सरकारी नौकरी लगने की बात कही गई. नौकरी न लगने पर कमल ने अपने रुपए वापस मांगे तो रंजीत के द्वारा कई बार फर्जी चेक दिए गए.जो बैंक के द्वारा बाउंस कर दिए गए. रणजीत चौहान ने असीम कृपा फाऊंडेशन एन जी ओ की आड़ में महिला समूहो को बेवकूफ बनाते हुए उन्हें नौकरी पर रखा गया और धनराशि ली गई. असीम कृपा फाऊंडेशन में कार्य करने वाली महिलाओं को वेतनमान के रूप में थोड़ी बहुत रकम देखकर शेष राशि हड़प ली गई एवं 2 साल से किसी को वेतनमान नहीं दिया गया. असीम कृपा फाऊंडेशन के सभी ब्लॉकों में ऊंचे वेतनमान पर महिलाओं को रखा गया और उन्हें बतलाया गया कि उसके द्वारा बैंडेज पट्टी की मशीन लगाई जाएगी और बाजार में बिक्री की जाएगी. जब मशीन आदि कुछ नहीं लगाई गई तब महिलाओं ने अपनी रकम वापस मांगी तो रणजीत चौहान के द्वारा उनको झूठे मामले में फंसा देने की बात कही गई और कहा गया कि वह पत्रकार है उसका कोई कुछ नहीं बिगाड़ पाएगा. बतलाया जा रहा है कि एनजीओ में काम करने के लिए 270 लोगों को रखा गया था. जिनसे सबसे धन उगाही की गई थी. रणजीत चौहान के द्वारा उत्तम प्रधान की पत्नी एवं भाभी से भी रकम लेकर बैंक का चेक दिये गये वे भी बाउंस हो गए. इसी तरह पुष्पा सिदार,पुष्पांजलि गुप्ता,अनीता प्रधान,ज्योति,ईश्वरी आदि न जाने कितने लोगो को फर्जी चेक दिए गए. जो सभी बाउंस हो गए. फर्जी चैको की इतनी लंबी सूची है कि यदि मामला न्यायालय के समक्ष पेश किया जाएगा तो रणजीत चौहान को आजीवन कारावास से कम सजा नही मिलेगी. क्योंकि उसने गरीब लोगों के साथ धोखाघड़ी करने के अतिरिक्त बैंकों को भी मूर्ख बनाया है.
उत्तम प्रधान के द्वारा थाना चक्रधर नगर में लिखित आवेदन दिया जा चुका है एवं कमल सिदार के द्वारा सिटी कोतवाली में आवेदन दिया गया है परंतु महीनो बीतने के बाद पुलिस के द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की गई. जिस वजह से ठगी का शिकार हो चुके ग्रामीणों के द्वारा कलेक्टर कार्यालय, पुलिस अधीक्षक कार्यालय, थाना चक्रधर नगर, सिटी कोतवाली के समक्ष बैठकर धरना दिया जाएगा और रणजीत चौहान की गिरफ्तारी के साथ ही अपनी रकम वापस दिलवाने एवं असीम कृपा फाऊंडेशन का रजिस्ट्रेशन रद्द करने की मांग की जाएगी. इसके बाद ग्रामीण रायपुर जाकर मुख्यमंत्री गृह मंत्री एवं रायगढ़ विधायक के कार्यालय के सामने देकर यही मांगे रखी जाएगी. अपनी रकम वापस न मिलने पर स्वेच्छा से आत्महत्या करने की मांग भी की जाएगी.
आदिवासी की डेड एकड़ जमीन अपने नाम करवा ली बतलाया जा रहा है कि रणजीत चौहान के द्वारा बनोरा के आदिवासी व्यक्ति की लगभग डेढ़ एकड़ जमीन डराते धमकाते हुए. अपने नाम चढ़ावा ली गई. आदिवासी व्यक्ति अकेला होने की वजह से डर के कारण शिकायत करने के लिए पीछे हट रहा था किंतु अब रणजीत चौहान के खिलाफ ग्रामीण लामबंद हो रहे हैं, इसलिए शायद अपनी जमीन गवां चुका आदिवासी भी सामने आने की हिम्मत जुटा रहा है.
असीम कृपा फाऊंडेशन की सूक्ष्म जांच होनी चाहिए… ग्रामीण के द्वारा रायगढ़ कलेक्टर मुख्यमंत्री विष्णु देव साय, गृह मंत्री विजय शर्मा, रायगढ़ विधायक वित्त मंत्री चौधरी से असीम कृपा फाउंडेशन एन जी ओ की सूक्ष्म जांच करने एवं इसकी मान्यता रद्द करने की मांग भी की जाएगी. असीम कृपा फाऊंडेशन की जांच होने पर कई चौंकाने वाले मामले उजागर हो सकते हैं. रणजीत चौहान के द्वारा महिलाओं से पैसे लेकर सब्जी उगाने की बात कही गई और वह सारे पैसे हड़प कर लिए गए. असीम कृपा फाऊंडेशन के नाम पर इतना गड़बड़ झाला किया गया है कि इसके डायरेक्टर रणजीत चौहान एवं सुदीप मंडल ठगराज के रूप में सामने आ जाएंगे.
मीडिया के नाम पर डराया धमकाया गया.. रणजीत चौहान एवं सुदीप मंडल हर समय ग्रामीण क्षेत्रों में माइक आईडी एवं हेंडिकेम कैमरा लेकर ग्रामीणों के सामनेअपना प्रभाव दिखाते हुए डरा धमकाकर किसी भी केस में फंसा देने की धमकी देकर उनका मुंह बंद कर देते थे और अपना परिचय थाना प्रभारीयों, कलेक्टर, एस पी, से बतलाते थे एवम अपनी पहुंच रायपुर से लेकर दिल्ली तक के नेताओं से संबंध बतलाते थे. जिस वजह से ग्रामीण बेचारे खुद को लूट पीटा समझ कर मन मोसकर चुपचाप बैठे थे. मगर अब और कलेक्टर कार्तिकेय गोयल, एस पी दिव्यांग पटेल के कार्यों से प्रभावित होकर विरोध कर अपना हक वापस मांगने का साहस जुटा लिए है. कांग्रेस सरकार जाने के बाद भाजपा की सरकार आने से एवं मुख्यमंत्री विष्णु देव साय, गृह मंत्री विजय शर्मा,वित्त मंत्री ओ पी चौधरी की कार्यशैली से प्रभावित होकर न्याय मिलने की आस जग गई है एवं असीम कृपा फाऊंडेशन की मान्यता रद्द होने के आसार बढ़ गए हैं साथ ही रणजीत चौहान संदीप मंडल के ऊपर कानूनी कार्रवाई होने की पूरी उम्मीद जग गई है. पीड़ितों ने बतलाया कि उनके द्वारा प्रेस क्लब रायगढ़ के अध्यक्ष,सचिव के अतिरिक्त IND 24 news रायपुर को भी शिकायत पत्र सौपा जाएगा. यदि धरना के बीच उनके या उनके परिवार के किसी सदस्य की मृत्यु हो जाती है तो उसका कारण रणजीत चौहान एवं सुदीप मंडल को माना जाएगा.
रणजीत चौहान वह पत्रकार है जो लड़कियों की तरह लिपस्टिक फाउंडेशन पाउडर नेल पेंट काजल आदि लगता है और लड़कियों के आंतरिक वस्त्र पहना है. पैरों में लड़कियों के जूते पहनता है. उसकी कमर लड़कियों की तरह है और उसके कूल्हे भारी है. सूत्रों के अनुसार उसने सुजीत मंडल को अपना पति बना रखा है. संदीप मंडल रोजाना उसको बनोरा लेने एवं छोड़ने जाता है.