रायगढ़—– कोरोना वायरस की आड़ में दानवीरता,उदारशीलता के प्रदर्शन का चलन चल रहा है।हर कोई सफेदपोश जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन की नजरों में पाक साफ दिखलाने के लिये प्रयासरत है ताकि इसी बहाने से शहर में तफरीफ के साथ,अधिकारियों से परिचय बढ़ाया जा कर आगे का रास्ता बनाने का स्वर्णिम अवसर बनाया जा सके ताकि उनके द्वारा किये जाने वाले अवैध,गुणवत्ताहीन कार्यो पर क्लीन चिट मिल सके
राई के दाने के दान को भी पहाड़ का दान बतलाने वाले बहुतेरे समाजसेवी कुकुरमुत्ते की तरह से उग आये है। जो 70/₹ में 10 नग मिलने वाले पानी की बॉटल,1 लीटर दूध में 2 लीटर पानी मिली चाय,गरीबो को मिलने वाले 1/₹ किलो के चावल,निगम द्वारा बांटे जा रहे सेनिटाइजर,3/₹ वाले 50 बिस्किट पैकेट,5/₹ प्रति नग समोसा 50 नग,10/₹ प्रति नग वाले पेटीज,आदि बांटकर फोटो आदि खिंचवाकर धर्मात्मा का चोला ओढ़कर घूम रहे है। जो कि सरासर लाकडाउन,धारा 144 का उलंघन भी करते है।
इसी दिखावे की आपाधापी से परेशान होकर जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन ने गाइड लाइन बना दी कि दानवीर,धर्मात्मा लोग अपने घर पर ही रह कर सूखा अनाज नगर पालिका निगम तो तैयार पका पकाया भोजन नजदीकी थानों में भिजवाकर अपने दानवीरता की रसीद कटवाकर फ्रेम करवाकर रख लेंवे ताकि जरूरत पड़ने पर कर्ण होने का सुबूत दिया जा सके।भले ही सड़क बह जाये कि पूल पुलिया टूट जाये कि किये गए निर्माण कार्यो से पानी टपकने लग जाये परन्तु रसीद पास में रहने से दानवीर कर्ण होने की दुहाई दी जा सके।
