नगर निगम आयुक्त आउट ऑफ स्टेशन, लॉक डाउन के नियम इनके लिए नहीं लागू, महामारी फैलाने आतुर निगम आयुक्त
विवादों में घिरे रहने वाले आयुक्त एक बार फिर से विवादों में
नगर निगम आयुक्त पर लॉक डाउन के नियम लागू नही होता है यही वजह है कि ये हर शनिवार को बिलासपुर चले जाते है हर शनिवार की तरह इस शनिवार को भी उनके बिलासपुर चले जाने की खबर निगम के हल्के में चर्चा का विषय बना हुआ है। अब तक यह खबर अंदर खाने तक ही सीमित थी लेकिन इस शनिवार को आयुक्त नगर निगम के बिलासपुर चले जाने की खबर बाहर निकल कर आ रही है। जिस तरह से निगम आयुक्त सारे नियम कानुन को ताक पर रखकर बिलासपुर आना जाना कर रहे है। इससे यही प्रतीत हो रहा है की वे स्वयं को सबसे ऊपर मानते हैं।
नगर निगम आयुक्त राजेन्द्र गुप्ता लॉक डाउन के दौरान बिलासपुर चले जाने की खबर अंदर खाने से निकल कर बाहर आ रही है। हालांकि इसकी पुष्टि किसी भी तरह से नही हो पा रही है लेकिन अंदरूनी सूत्र बता रहे है कि साहब बिलासपुर के लिए रवाना हो गए है। बता दे इसके पहले नापतौल विभाग के पाल सिंह डहरिया भी लॉक डाउन के नियम को अपने पद तले रखते हुए कोरबा जिला आना जाना कर रहे थे। अब नगर निगम के आयुक्त को लेकर खबर आ रही है कि वे भी हर शनिवार को बिलासपुर चले जाते है और इस शनिवार को भी बिलासपुर के लिए रवाना हो गए है। आयुक्त के बिलासपुर जाने को लेकर हम नही पुष्टि कर रहे कि वे लॉक डाउन को तोड़ते हुए बिलासपुर हर शनिवार को आना जाना करते है ऐसा सूत्र बता रहे है। इसके पहले नापतौल के अधिकारी के बारे में भी कोरबा जाने-आने की गुप्त सूचना मिली थी जो बाद में सही साबित हुई।
लॉक डाउन का नियम बताने वाले खुद तोड़ रहे नियम
नगर निगम आयुक्त राजेन्द्र अग्रवाल जो पूरे नगर निगम क्षेत्र के लोगों को लॉक डाउन के नियम का पालन करने समझाइश देते नजर आते है लोगो को लॉक डाउन नियम नही तोड़ने का हवाला देकर नियम कानून का पालन करने कहा जाता है लेकिन मानो आयुक्त पर यह नियम लागू नही होता है या फिर ये अपने आप को सारे नियम कानून से ऊपर समझते हैं। जिस तरह से नगर निगम आयुक्त राजेन्द्र गुप्ता बिलासपुर आना जाना कर रहें है वो स्वयं रायगढ़ वासियो में कोरोना संक्रमण फैलाने पर आमादा हैं।
कलेक्टर का भी नही डर-
निगम आयुक्त राजेन्द्र गुप्ता जो एक जिम्मेदार पद पर हैं ऐसे में लगता है कि उन्हें कलेक्टर भी डर नही है। शायद यही वजह है कि लॉक डाउन के दौरान किसी भी अधिकारी कर्मचारी को मुख्यालय छोड़ने की अनुमति नही है जैसे लगता है कि इन्हें कलेक्टर के अनुमति की भी जरूरत नही है शायद इसलिए स्वयं को कलेक्टर से भी ऊपर समझते हुए सारे नियम कानुन को ताक पर रखकर बिलासपुर आना जाना कर रहे है। बता दे कि इनकी कार्यं प्रणाली से नगर निगम क्षेत्र के पार्षद भी परेशान रहते हैं और आज ही पार्षदों का एक दल कलेक्टर से शिकायत भी किया है।
क्या कहते है कलेक्टर यशवंत कुमार—————
मुझे भी सूचना मिली है इसकी जांच कराई जा रही है ।