🎤टिल्लू शर्मा✒️टूटी कलम रायगढ़ छत्तीसगढ़. पहली दफा मीना बाजार को लेकर इतनी लंबी खींचतान मीना बाजार संचालक एवं 3 लोगों के बीच देखने को मिल रही है. असंतुष्ट लोग मीना बाजार का विरोध क्यों कर रहे हैं यह आम जनता की समझ से परे है. मीना बाजार के समान डंप होने के पश्चात मीना बाजार का विरोध करने वालों ने माननीय उच्च न्यायालय में परिवाद दाखिल किया गया है। जिस पर संभवत कल हाई कोर्ट का फैसला आ सकता है. फैसला मीना बाजार के पक्ष में ही आने की पूरी पूरी संभावना है क्योंकि मीना बाजार के विरोध में जो जो बिंदु बतलाए गए हैं वे सब एक सिरे से खारिज किए जा सकते हैं क्योंकि उक्त बिंदुओं में कोई दमखम नहीं है।
माननीय न्यायालय को जिन समस्याओ से अवगत कराया गया है। वे सारी समस्याएं सदैव से बनी हुई है। सावित्री नगर में पिछले 9 वर्ष से प्रतिवर्ष मीना बाजार लगता आ रहा है। तब उक्त समस्याएं जीवित थी और आज भी जीवित है। समस्याओं का निराकरण ना कर पाना क्षेत्रीय पार्षद की निष्क्रियता एवं कमजोरी माना जाना चाहिए।
गौरतलब है कि बोगदा पुल का निर्माण कार्य प्रगति पर है और रेलवे की ट्रैक पार करके आमजनता पहले भी मीना बाजार देखने जाती आती थी और अभी अब भी ऐसा ही होगा। 9 वर्षों से आज तलक कोई जनहानि नहीं हुई है तो अचानक से इस वर्ष जनहानि का ख्याल पार्षद को कैसे आ गया ?
रेलवे का रैक पॉइंट पहले भी यही था और अब भी यही है। यहां भी आज तक किसी भी किस्म की दुर्घटना नहीं हुई है। भारी वाहनों की रेलम पेल का समय निर्धारित होता है। शाम के 5:00 बजे के बाद किसी भी तरह के भारी वाहन को रैक पॉइंट से माल लोड अन लोड करने की अनुमति नहीं है जबकि मीना बाजार देखने जाने का समय शाम 7:00 बजे के बाद शुरू होता है. उक्त रैक पॉइंट पर आज तलक कोई घटना दुर्घटना नहीं घटी है। केवल मीना बाजार ना लग सके इसलिए मुद्दा बनाया जा रहा है। पार्षद की सक्रियता तब सही मानी जाती जब उनके द्वारा रैक पॉइंट को अन्य स्थल पर बनाने के लिए जनसमर्थन हासिल कर आंदोलन, धरना ,प्रदर्शन किया जाता. पार्षद को उक्त वार्ड की जनता की समस्याओं से कोई मतलब नहीं है क्योंकि पार्षद स्वयं अतर मुड़ा क्षेत्र में निवास करते हैं.
नगर निगम के द्वारा सावित्री नगर तक की सड़क का निर्माण करवाया जा रहा है। अभी तक एक तरफ की आधी सड़क पूरी बन चुकी है एवं कुछ दिनों में ही दूसरी तरफ की सड़क बन जाने से सड़क का मुद्रा खत्म हो जाएगा।
शराब दुकान नजदीक होने का बिंदु भी बतलाया गया है। तो यहां यह उल्लेख करना लाजिमी है कि शराब दुकान आवासिय कॉलोनीयों बीचोबीच स्थित है। इसलिए उक्त शराब दुकान को अन्यंत्र कहीं और स्थान उपलब्ध करवाना चाहिए। वैसे बड़पारा शराब दुकान के नाम से वार्ड क्रमांक 19 में रायगढ़ जिले की सबसे बड़ी शराब भट्टी दशकों से संचालित की जा रही है। इस शराब भट्टी से रेलवे ट्रैक सटी हुई है और सबसे दिलचस्प बात यह है कि आज तक कोई भी शराबी ट्रेन से नहीं कटा है।
कच्ची गोलियां नहीं खेली होगी मीना बाजार संचालक ने.. देश के अनेक प्रांतों में घूम घूम कर मीना बाजार लगाने वाले मीना बाजार संचालक को इस तरह की समस्याएं कई जगह उत्पन्न होती होगी परंतु मीना बाजार संचालक उक्त समस्याओं का निराकरण करना भली-भांति जानते होंगे। मीना बाजार संचालक के द्वारा संभवतः अंदर ही अंदर सारी चाले चल चुकी होगी. शायद इसीलिए मीना बाजार लगाने का कार्य दिन रात जारी है. मीना बाजार के संचालक साम. दाम. दंड. भेद सभी नीतियों से परिपूर्ण होते हैं. इस वजह से मीना बाजार सावित्री नगर के अतिरिक्त अन्य कोई स्थान पर लगने में संशय बरकरार है.








